नई दिल्ली। आप बार-बार सुनते आ रहे है कि वहम का इलाज तो लुकमान हकीम के पास भी नहीं होता। लेकिन जल्द ही जुमला कहां ज्यादा बंद होने जा रहा है। क्योंकि अब वह उनका इलाज खोज लिया गया है।
कई बार लोग मन में वहम पाल लेते हैं कि खाने से उनका वजन बढ़ रहा है और इसलिए वह खाना-पीना छोड़ देते हैं या कम कर देते हैं। इस समस्या को चिकित्सा जगत में एनोरेक्सिया कहा जाता है। हालांकि अमेरिका के सैन डिएगो में एक अध्ययन में पता चला है कि मशरूम से बनी दवा के सेवन से इस मानसिक समस्या का उपचार संभव है।
सैन डिएगो स्थित ईटिंग डिसऑर्डर क्लिनिक के संस्थापक वाल्टर केई ने बताया कि मशरूम में मौजूद पोषक तत्व से बनी साइकेडेलिक दवा से इसका उपचार संभव है। दरअसल मशरूम में सिलोसाइबिन नाम का सक्रिय तत्व होता है, जो दिमाग को एक्टिव करने वाला कंपाउंड है। अध्ययन में दस लोगों को शामिल किया गया। उन्हें संश्लेषित गोली के रूप में मशरूम की अधिकतम खुराक दी गई। इनमें कई उम्मीदवार ऐसे थे, जो काफी वर्षों से एनोरेक्सिया से पीड़ित थे। अध्ययन के दौरान मशरूम से बनी दवा के सेवन से पीड़ितों में खाने-पीने को लेकर विचारों में बदलाव देखा गया।
“मशरूम (Mushroom) क्या है?
मशरूम एक प्रकार का फंगस है, जो कि खाया जा सकता है। यह ना सिर्फ फैट-फ्री, लो सोडियम, लो कैलोरी और कोलेस्ट्रॉल फ्री है, बल्कि इसमें फाइबर, विटामिन और मिनरल भी प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं। इसका बोटेनिकल नाम अगरिकुस बिस्पोरस (Agaricus bisporus) है, जो कि खुंभी (agaric) फैमिली से आता है। मशरूम विभिन्न आकार, प्रकार और रंगों में आते हैं और स्वादिष्ट भी होते हैं। आमतौर पर इसका इस्तेमाल एक सब्जी के तौर पर किया जाता है।